
जयपुर ज्योतिरादित्य सिंधिया के बाद कांग्रेश के एक और युवा कर्मठ नेता जितिन प्रसाद ने भी कांग्रेस का दामन छोड़ बुधवार को भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर ली, दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी के कार्यालय में केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने जितिन प्रसाद को भाजपा की सदस्यता ग्रहण करवाई भाजपा के सूत्रों के मुताबिक जितिन प्रसाद को उत्तर प्रदेश में भाजपा की ओर से कोई बड़ी जिम्मेदारी सौंपी जाएगी फिलहाल जितिन प्रसाद के भाजपा ज्वाइन करने के बाद कांग्रेस पार्टी को एक और तगड़ा झटका लगा है क्योंकि ज्योतिरादित्य सिंधिया की तरह जितिन प्रसाद भीकांग्रेस पार्टी के काफी सक्रिय युवा नेता थे उनकी पार्टी में साफ-सुथरी छवि थी लेकिन किन कारणों के चलते उनका कांग्रेस पार्टी से मोहभंग हुआ यह सवाल कांग्रेस पार्टी के छोटे बड़े सभी नेताओं को बेचैन किए हुए हैं जब ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कांग्रेस पार्टी का दामन छुड़ा था उस समय भी कांग्रेस पार्टी के कुछ कद्दावर सीनियर नेताओं ने सिंधिया के पार्टी छोड़कर जाने को लेकर गहरी चिंता जताई थी और पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व को कटघरे में खड़ा करने का प्रयास किया था अब जिस तरह से एक बार फिर एक और युवा नेता जितिन प्रसाद ने कांग्रेस पार्टी छोड़ी है उसके बाद पार्टी के दिल्ली दरबार से जुड़े नेताओं की चिंता काफी बढ़ गई है हालांकि राजस्थान में कांग्रेस पार्टी के नेताओं ने जितिन प्रसाद को आया राम गया राम जैसा नेता बताया है प्रदेश सरकार के मुख्य सचेतक महेश जोशी ने संवाददाताओं से कहा कि जितिन प्रसाद जैसे नेता आया राम गया राम नेताओं की श्रेणी में आते हैं जोशी ने कहा कि ज्योतिरादित्य सिंधिया की कांग्रेस पार्टी में बहुत अच्छी इमेज थी कांग्रेस पार्टी में उनका बहुत अच्छा सम्मान था आने वाले दिनों में ज्योतिरादित्य सिंधिया मध्यप्रदेश में मुख्यमंत्री पद के लिए पार्टी के प्रबलदावेदार थे लेकिन उन्होंने अपने ही पांव पर कुल्हाड़ी मारी आज मध्य प्रदेश भाजपा में ज्योतिरादित्य सिंधिया की छवि ठीक नहीं है, सिंधिया मध्य प्रदेश भाजपा में निचले पायदान के नेता बनकर रह गए हैं जोशी ने कहा कि जितिन प्रसाद के पार्टी छोड़कर जाने के मामले को सचिन पायलट से नहीं जोड़ा जाना चाहिए क्योंकि सचिन पायलट ने आज तक कभी भी सोनिया गांधी और राहुल गांधी के खिलाफ बयान नहीं दिया है इसलिए इस मामले को राजस्थान से नहीं जोड़ा जाना चाहिए उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी में आंतरिक लोकतंत्र है और केंद्रीय नेतृत्व को अपनी बात कहने का अधिकार सबको है इसलिए राजस्थान में सभी कांग्रेस जन एकजुट है