लक्ष्मणगढ़ में अस्थाई अतिक्रमण बना गंभीर संकट, नगरपालिका की निष्क्रियता से जनता बेहाल

लक्ष्मणगढ़, 17 अप्रैल। शहर में अस्थाई अतिक्रमण दिन-ब-दिन विकराल रूप लेता जा रहा है, लेकिन नगरपालिका इसे हटाने में पूरी तरह विफल नजर आ रही है। शहर के मुख्य मार्गों, बाजारों, बस स्टैंड और ऐतिहासिक घंटाघर के आसपास ठेले, अस्थाई दुकानें और निजी वाहनों ने आमजन के लिए रास्ता तक संकीर्ण कर दिया है।
पुराना बस स्टैंड, जहां कभी रोडवेज बसों की आवाजाही हुआ करती थी, अब पूरी तरह अतिक्रमण की चपेट में आ चुका है। अतिक्रमण के कारण ही लोकल बस सेवा यहां से बंद कर दी गई, जिससे आम लोगों को भारी परेशानी उठानी पड़ रही है। शहर के अन्य मार्गों पर भी निजी वाहनों की अवैध पार्किंग के कारण पैदल चलना मुश्किल हो गया है।
सबसे चिंताजनक बात यह है कि नगरपालिका न तो कोई स्थायी समाधान तलाश रही है, और न ही सख्त कार्रवाई कर रही है। यदि कभी अतिक्रमण हटाने का अभियान चलता भी है तो वह या तो राजनीतिक दबाव में रुक जाता है या दो दिन में ठंडा पड़ जाता है।
समस्या का स्थायी समाधान वेंडर जोन की प्रभावी व्यवस्था और प्रशासनिक इच्छाशक्ति से ही संभव है। जब तक नगरपालिका अपने दायित्वों का गंभीरता से पालन नहीं करेगी, तब तक शहर अस्थाई अतिक्रमण के बोझ तले दबा रहेगा और आमजन त्रस्त होता रहेगा।