प्रॉपर्टी कारोबारी की मौत का नया मोड़: घर के मंदिर से मिला सुसाइड नोट, तीन लोगों पर फंसाने का आरोप

प्रॉपर्टी कारोबारी की मौत का नया मोड़: घर के मंदिर से मिला सुसाइड नोट, तीन लोगों पर फंसाने का आरोप



जयपुर के लालकोठी इलाके में एक महीने पहले जहर खाकर आत्महत्या करने वाले प्रॉपर्टी कारोबारी आशीष शर्मा की मौत का नया मोड़ सामने आया है। शनिवार को उनके परिजनों को घर के मंदिर की सफाई के दौरान सुसाइड नोट मिला, जिसमें तीन लोगों पर प्लॉट बेचने के नाम पर फंसाने का आरोप लगाया गया है। इसके आधार पर परिजनों ने पुलिस में आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला दर्ज करवाया है।

घटना का विवरण

आशीष शर्मा (38), जो मंगल विहार पुरानी चुंगी कानोता के निवासी थे, ने 8 अगस्त को आत्महत्या की थी। लालकोठी थाना पुलिस को उनकी जेब से भी एक सुसाइड नोट मिला था, लेकिन हाल ही में घर के मंदिर में मिले नोट से पता चला कि आशीष ने दो कॉपियां लिखी थीं। एक नोट उनकी जेब में था और दूसरा घर के मंदिर में छिपा हुआ था।

सुसाइड नोट में आशीष ने लिखा था कि तीन लोगों ने उन्हें फर्जी प्लॉट बेचकर फंसा दिया था। उन्होंने आरोप लगाया कि इन लोगों ने प्लॉट को दो बार बेचा और उन्हें कानूनी जाल में फंसा दिया, जिससे तंग आकर उन्होंने आत्महत्या का कदम उठाया। सुसाइड नोट में दो व्यक्तियों, टिंकू और गोपाल, का नाम स्पष्ट रूप से दर्ज है।

घटना का दिन

आशीष शर्मा 8 अगस्त को अपने घर से काम के लिए निकले थे, लेकिन उनकी पत्नी रोशनी के कई कॉल्स करने के बावजूद उन्होंने फोन नहीं उठाया। फिर ननद सपना ने आशीष को कॉल किया, तो उन्होंने खुद को रामनिवास बाग में बताया और फोन काट दिया। परिजन उन्हें ढूंढते हुए रामनिवास बाग पहुंचे, जहां वे बेहोशी की हालत में मिले। उनके मुंह से झाग निकलते देख परिजनों को जहर खाने का संदेह हुआ और उन्हें तुरंत SMS अस्पताल में भर्ती करवाया गया, लेकिन इलाज के दौरान उनकी मृत्यु हो गई।

परिजनों का बयान

आशीष के भाई रोहित ने बताया कि आशीष ने अस्पताल में भर्ती होने के दौरान कहा था कि तीन लोगों ने उनके साथ धोखा किया और उनकी बेटियों का ध्यान रखने की बात कही। आशीष की सबसे बड़ी बेटी आकांक्षा की तीन महीने पहले सगाई हुई थी और अगले साल फरवरी में उसकी शादी तय थी।

पुलिस की जांच जारी

पुलिस ने आशीष शर्मा के सुसाइड नोट के आधार पर मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। अब यह पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि किन परिस्थितियों में आशीष को धोखे में फंसाया गया और किन लोगों ने उन्हें इस हद तक मानसिक दबाव में डाला कि उन्होंने आत्महत्या कर ली।