सांसद बेनीवाल ने सांसद सेवा केन्द्र में की जनसुनवाई.... - वन टू वन संवाद कर समस्याएं सुनी और जल्द निराकरण करने का आश्वासन दिया

सांसद बेनीवाल ने सांसद सेवा केन्द्र में की जनसुनवाई.... - वन टू वन संवाद कर समस्याएं सुनी और जल्द निराकरण करने का आश्वासन दिया

रावतसर/बाड़मेर सांसद सेवा केन्द्र में शनिवार को आयोजित जनसुनवाई में स्थानीय सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल ने ग्रामीणों से रूबरू हुए और उनकी समस्याएं सुनकर उनका त्वरित निस्तारण करवाने का आश्वासन दिया। इस दौरान सांसद बेनीवाल परिवादियों के बीच बैठकर वन टू वन संवाद कर समस्याएं सुनी और जल्द निराकरण करने का आश्वासन दिया। 
इस दौरान सांसद बेनीवाल ने बताया कि पेयजल, विधुत, राजस्व, शिक्षा व विभिन्न विभागों से संबंधित समस्याओं को लेकर अलग अलग क्षेत्र से परिवादी पहुंचे और उनके सही मार्गदर्शन कर जायज समस्याओं के निस्तारण को लेकर अधिकारियों को निर्देशित किया गया। उन्होंने बताया कि कहीं अधिकारी सड़कों को लेकर मनमानी कर रहे है, उन्हें निर्देशित किया जा रहा है कि स्वीकृत हो रखी है उसी जगह पर बने और क्वालिटी को लेकर किसी तरह का समझौता नहीं हो। इसक़े पश्चात सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल मिडिया से रूबरू होते हुए आगामी 23 जुलाई को पेश हो रहे आम बजट को लेकर कहा कि जैसलमेर- बाड़मेर - भाभर रेल लाइन का बजट 2015 में पांच हजार करोड़ रूपये स्वीकृत हो चुका है लेकिन उसके बाद फाइल कहीं दब चुकी है, जिसकी पैरवी करते हुए सबसे पहले इस मुद्दे पर चर्चा कर मांग उठाई जाएगी कि इस परियोजना को जल्द शुरू करवाने की पहली प्राथमिकता रहेगी।
वहीं माही डेम का पानी पश्चिम राजस्थान के हिस्से का मिले इसको लेकर लोगों की 20 साल पुरानी लम्बी मांग है, इसके मध्यनज्जर रखते हुए केंद्र सरकार बजट जारी करें। इसके साथ ही बाड़मेर एयरपोर्ट को लेकर घोषणा हो चुकी है लेकिन बजट स्वीकृत नहीं हुआ है, जिसका कार्य जल्दी शुरू हो ताकि आमजन को इसका समय पर फायदा मिल सकें। वहीं उन्होंने कहा कि केयर्न इण्डिया, रिफाइनरी व विंड & सोलर समेत तमाम बड़ी कम्पनियों में स्थानीय युवाओं को रोजगार में प्राथमिकता दी जाए। इन तमाम मुद्दों को लेकर संसद के अंदर उठाया जाएगा। 

सांसद बेनीवाल ने बताया कि ओबीसी के साथ सरकारें लम्बे समय से अन्याय कर रही है वही वैसे कुछ लोग ओबीसी को लेकर बदनाम कर रहे है कि हमारा हक खा गए, लेकिन हकीकत यह है कि अगर गणना की जाए तो ओबीसी को बराबर हक नहीं मिल रहा है। पहले भी ओबीसी आरक्षण को लेकर काफ़ी छेड़खानी हुई है। बहुत ज्यादा अनियमितताएं हो रही है जो गलत है। साथ ही राजस्थान पुलिए सेवा सेवा में ओबीसी वर्ग को आयु में मिलने वाली पाँच वर्ष की शिथिलता के नियम को खत्म किया गया है जो एक कुठाराघात है। उन्होंने सरकार से मांग की है कि पुन: वाली व्यवस्था लागू करें। वहीं संख्या के अनुसार बराबर आरक्षण मिले और जनगणना जल्द की जाए और सभी को अपना हक व अधिकार मिलना चाहिए।