मरुसेना के नेतृत्व में मरुप्रदेश ऊँटों की महायात्रा ने रींगस में किया प्रवेश 

मरुसेना के नेतृत्व में मरुप्रदेश ऊँटों की महायात्रा ने रींगस में किया प्रवेश 

कांवट-राजस्थान में काफी लंबे समय से मरुप्रदेश राज्य की मांग को लेकर संघर्षरत मरुप्रदेश निर्माण मोर्चा द्वारा आयोजित ऊँटों की महायात्रा ने रविवार को रींगस पहुँची। यात्रा के 23 जनवरी को श्रीगंगानगर से शुरु होकर चौदहवें दिन रींगस में प्रवेश  करने पर मरूसेना के प्रदेश संयोजक मनोज कुमार यादव व मरू सेना के सैकड़ों कार्यकर्ताओं द्वारा स्वागत किया गया। महायात्रा के प्रमुख जयन्त मूण्ड ने बताया कि मरुप्रदेश निर्माण की मांग व 13 जिलों की 33 सूत्रीय मांगो को लेकर मरुप्रदेश ऊँटों की महायात्रा की जा रही है। राजस्थान बहुत बड़ा प्रदेश है जिसके कारण राजधानी से दूर इलाको का विकास नही हो रहा है। राज्य बड़ा होने की वजह से प्रशासनिक पकड़ कमजोर हो गयी है। बाहरी गैंगस्टरों ने राज्य में आतंक का साम्राज्य स्थापित कर लिया है। हमारे बेशकीमती खनिजों को माफियां,नेता व प्रशासन लूट रहे है। मरुप्रदेश सोने के भंडार पर होने के बावजूद कटोरा लिए खड़ा है। किसान महंगी व अनियमित बिजली से,आम आदमी महंगे तेल से, युवा रोजगार के लिए,महिलाएं सुरक्षा के लिए,छात्र पेपर माफियाओं के लिए,खेत पानी के लिए,जानवर खाने के लिए,गरीब मकान के लिए लालायित है।
महामंत्री अशोक काम्या ने कहा कि मरुधरा में देश का 27% तेल निकल रहा है।यूरेनियम,जिप्सम,पोटाश,सैंड स्टोन,अभ्रक जैसे बेशकीमती भंडार मरुधरा में है। हरियाणा, पंजाब में एक बूंद तेल नही निकलने के बावजूद सस्ता तेल मिल रहा है। बिजली उत्पादन में हमारा राज्य नम्बर एक है फिर भी महंगी बिजली मिल रही है। 
प्रवक्ता नितेश पारमुवाल ने कहा कि 33 मांगो को लेकर यात्रा करी जा रही है जो 07 फरवरी को जयपुर पहुँच मुख्यमंत्री के समक्ष ज्ञापन दिया जाएगा।

मरुप्रदेश निर्माण मोर्चा अध्यक्ष जयवीर गोदारा ने बताया कि राजस्थान का समुचित विकास छोटे जिले या संभाग बनाने से नही होगा बल्कि प्रदेश बनाने से होगा। पिछले 13 वर्षों से वो छोटे राज्य का आंदोलन चला रहे है। अनेकों मुद्दों पर सरकार से बातचीत भी की है व प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदीजी से 02 बार मुलाकात करी है। अभी जनता को जाग्रत कर रहे है जल्द इससे भी बड़ी रैली करके प्रदेश व केंद्र की सरकार का ध्यान आकर्षित करेंगे। पौने तीन करोड़ जनसँख्या वाले मरुप्रदेश में 70 लाख लोग गरीबी में जीवन यापन कर रहे है जिनकी प्रतिदिन की कमाई 35 रुपये सरकारी आकड़ो में है। रोजगार के लिए गांवों से खाड़ी देशों व बाहरी राज्यो में पलायन हो रहा है। माफियाओं की वजह से पढ़ने वाले परीक्षार्थियों का कोई भविष्य नही दिख रहा। जिस दिन मरुप्रदेश बनेगा उस दिन सीकर का विकास गुरुग्राम की तरह होगा और भारत के नक्शे का सबसे सुंदर शहर होगा।
यात्रा प्रभारी मनिन्दर मान ने कहा कि जिले मुख्यालय तक भी मुख्यमंत्री 05 साल में एक बार भी नही पहुँच पा रहे तो विकास की परिकल्पना ही बेमानी है।

यात्रा में मरुसेना प्रदेश संयोजक मनोज यादव,झुन्झुनू जिलाध्यक्ष संजीव सिहाग,सीकर जिलाध्यक्ष निरंजन,मरुसेना संयोजक अजय डूडी,समाजसेवी अशोक झाझड़िया,मरुसेना जिलाध्यक्ष विनोद ढाका,अनुज बादूसर लक्ष्मणगढ़,दिनेश झाझड़िया,महिपाल महला फतेहपुर, रामनिवास भादवाड़ी, राकेश झाड़ली,विकी बिशनपुरा, पिन्टू शर्मा,अरविंद डुमरा,वीरेन्द्र मील,राजू देलसर समेत सैकड़ो नोजवान मौजूद थे।