लुप्त हो रही माण्डना कला को पुर्नजीवित किया जाएगा

लुप्त हो रही माण्डना कला को पुर्नजीवित किया जाएगा


शिल्पग्राम में बड़े स्तर पर माण्डना कला की चित्रकारी प्रदर्शित की जाएगी: सीईओ
सवाई माधोपुर, 23 मार्च। राजस्थान ग्रामीण आजीविका विकास परिषद की जिला इकाई द्वारा जिला परिषद सभागार में मुख्य कार्यकारी अधिकारी अभिषेक खन्ना की अध्यक्षता में एक दिवसीय माण्डना कला प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन किया गया।
कार्यशाला में मुख्य अतिथि आयाम कला एवं संस्कृति संस्थान जयपुर के संस्थापक प्रोफेसर चिनमय मेहता ने माण्डना कला को विकसित करने एवं सांस्कृतिक धरोहर के रूप में अंतरराष्ट्रीय पहचान दिलाने अपने अनुभवों एवं प्रयासों से स्वयं सहायता समूह की महिलाओं एवं उपस्थित अधिकारियों को अवगत कराया। सवाई माधोपुर जिले की लुप्त हो रही सुन्दर माण्डना कला को पुर्नजीवित करने के लिए जयपुर की आयाम संस्थान पिछले 5 वर्ष से समर्पित है। गारे की कच्ची दीवारों पर बने यह सुन्दर चित्र विदेशी पर्यटकों को अत्याधिक आकर्षित करते हैं। गांवों में पक्के मकान बनने से यह परम्परा लुप्त होने लगी है। आयाम पिछले 5 वर्ष से ग्रामीण महिलाओं से सम्पर्क करके कच्ची दीवारों पर बनाए जाने वाले माण्डना चित्रों को कागज, कपड़े और सीमेन्ट की दीवारों पर माण्डना बनाना सिखाकर उन्हें रोजगार दिलाने का महत्वपूर्ण कार्य कर रही है। इससे माण्डना की अनूठी परम्परा का संरक्षण के साथ महिला सशक्तिकरण भी हो रहा है।
मुख्य कार्यकारी अधिकारी ने कहा कि समस्त पर्यटक स्थलों पर माण्डना कला की चित्रकारी करवाकर बाहर से आने वाले देशी विदेशी पर्यटकों तक इस कला को पहुंचाया जाए। ताकि माण्डना कला को मधुबनी कला की तरह वैश्विक स्तर पर पहचान दिलाई जा सकें। उन्होंने कहा जिले के पर्यटक स्थलों के समीप चौखीढाणी जैसे ग्रामीण रिसोर्ट्स स्थापित कर उन पर माण्डना बनवाकर ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि विदेशी पर्यटकों तक माण्डना कला की पहुंच सुनिश्चित करने के लिए ग्रामीण महिलाओं को चिन्हित कर शिल्पग्राम में बड़े स्तर पर माण्डना कला की चित्रकारी प्रदर्शित की जाएगी। उन्होंने माण्डना कला प्रशिक्षण से स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को जोड़कर महिला सशक्तिकरण एवं महिलाओं के सामाजिक व आर्थिक उत्थान के लिए महिलाओं को प्रेरित किया। उन्होंने माण्डना कलां को नई दिशा देने के लिए राजीविका की जिला इकाई द्वारा समूह गठित कर माण्डना कला में रुचि रखने वाली महिला सदस्यों को मिशन मोड पर प्रशिक्षण दिलवाने की बात कहीं।
इस अवसर पर अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी अजीत सहरिया, जिला राजीविका परियोजना प्रबन्धक डॉ. सुमन, जिला प्रबन्धक कमल कुमार, स्वयं सहायता समूह की महिलाओं सहित अन्य उपस्थित रहे।