डॉ प्रदीप कुमार दीप को मिला पारिस्थितिकी ब्रांड एम्बेसडर सम्मान
लवणीय आर्द्रभूमि की पर्यावरण एवं जैवविविधता संरक्षण में भूमिका : सांभर झील के संदर्भ में शोध पत्र पर मिला सम्मान
सीकर । फॉस्टर भारतीय पर्यावरण सोसाइटी ईन्टाली तथा पारिस्थितिकी एवं आजीविका कार्य संस्थान के संयुक्त तत्वावधान में तथा राष्ट्रीय पर्यावरण एवं खान संरक्षण मंच निर्देशन में अंतर्राष्ट्रीय आर्द्र भूमि दिवस (2 फरवरी) को आयोजित राष्ट्रीय लेखन प्रतियोगिता में लेखक, साहित्यकार एवं समीक्षक डॉ प्रदीप कुमार को ए श्रेणी में पारिस्थितिकी ब्रांड एम्बेसडर सम्मान-2023 से नवाजा गया । कार्यक्रम संयोजक एवं निदेशक डॉ ललित नारायण आमेटा के अनुसार लेखन प्रतियोगिता का मूल उद्देश्य आर्द्रभूमि क्षेत्र जिनमें अंतर्देशीय आर्द्रभूमि (जैसे दलदल, प्राकृतिक तालाब, झीलें, नदियाँ, बाढ़ के मैदान इत्यादि); तटीय आर्द्रभूमि (जैसे खारे पानी के दलदल, ज्वारनदमुखी, मैंग्रोव, लैगून और प्रवाल भित्तियाँ इत्यादि); तथा मानव निर्मित आर्द्रभूमि जैसे मछली के तालाब, चावल के खेत, नमक बनाने के कुंड, मानव निर्मित तालाब, बाँध व अन्य जलाशय इत्यादि आते हैं का संरक्षण और संवर्धन करना है ताकि उन्हें उनके मूल स्वरूप में वापस लाया जा सके । कार्यक्रम संचालक डॉ ओमप्रकाश किराड़ ने बताया कि लेखन कार्यक्रम का संयोजन डिजिटल माध्यम से पारिस्थितिकी वैज्ञानिक डॉ० सुनील दुबे के मार्गदर्शन में आयोजित हुआ । नेशनल प्रतियोगिता के मुख्य अतिथि डॉ लक्ष्मीनारायण आमेटा, राष्ट्रीय अध्यक्ष, राष्ट्रीय पर्यावरण एवं खनिज संरक्षण मंच डिजिटल माध्यम से भुमिका निभाई ।
डॉ सुनील दुबे के अनुसार स्थानीय पारिस्थितिकी के निर्माण , संरक्षण एवं संवर्धन में आर्द्रभूमि क्षेत्र जन जागरूकता के पारिस्थितिकीय योगदानकर्ता के रूप में सीकर जिले के साहित्यकार एवं जैवविविधता विशेषज्ञ डॉ० प्रदीप कुमार दीप को स्थानीय पारिस्थितिकी निर्माण , संरक्षण और संवर्धन हेतु आर्द्रभूमि क्षेत्र जन जागरूकता के पारिस्थितिकी ब्रांड एम्बेसडर सम्मान से अलंकृत किया गया । ध्यातव्य है कि डॉ दीप ने अपना शोध पत्र लवणीय आर्द्रभूमि की पर्यावरण एवं जैवविविधता संरक्षण में भूमिका : सांभर झील के संदर्भ में प्रेषित किया गया था । सनद रहे कि डॉ प्रदीप कुमार क्रय विक्रय सहकारी समिति लक्ष्मणगढ़ में महाप्रबंधक के रूप में कार्यरत है