पुलिस थाना रोहट जिला पाली बांडी नदी उफान पर होने के कारण टापू बने सिणगारी

पुलिस थाना रोहट जिला पाली बांडी नदी उफान पर होने के कारण टापू बने सिणगारी

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 चोटिया गांवों में फंसे कुल 33 ग्रामीणों को जीवित रेस्क्यू किया


सुमेरपुर,पाली 6 अगस्त/ 
मंगलवार प्रातः 10ः20 बजे पुलिस कन्ट्रोल रूम जिला पाली से भारी बरसात के कारण पुलिस थाना रोहट के अन्तर्गत गांवो में बांडी नदी उफान पर होने के कारण काफी संख्या में ग्रामीणों के फंसे होने की सूचना एसडीआरएफ राजस्थान कन्ट्रोल रूम जयपुर को मिलने पर एसडीआरएफ कन्ट्रोल रूम द्वारा कमाण्डेन्ट राजेन्द्र सिंह सिसोदिया के निर्देशानुसार मानसून सत्र 2024 में आपदा राहत एवं बचाव हेतु एसडीआरएफ एफ कम्पनी जोधपुर  मुख्यालय पर तैनात रेस्क्यू टीम एफ-03 के प्रभारी हैड कानि0 ओमसिंह को अविलम्ब घटनास्थल के लिए रवाना होने के निर्देश दिए।         
रेस्क्यू टीम प्रभारी 10 जवानों की टीम तथा आपदा राहत उपकरणों के साथ दोपहर 12ः00 बजे घटनास्थल पर पहुँचे। टीम कमाण्डर ने स्थिति का जायजा लिया तथा एसडीआरएफ कमाण्डेन्ट को बताया कि जिले में भारी बरसात के कारण बांडी नदी अपने पूरे वेग के साथ बह रही है तथा पुलिस थाना रोहट के अन्तर्गत नदी के बहसव क्षेत्र के काफी गांव टापू बन गये है। स्थानीय प्रशासन ने बताया कि टापू बने सिणगारी व चोटिया गांव में कुछ ग्रामीणों के फसे हुए है। मोटर बोट की सहायता से रेस्क्यू ऑपरेशन को अंजाम दिया जायेगा। एसडीआरएफ राजस्थान कमाण्डेन्ट ने टीम कमाण्डर को आवश्यक दिशा-निर्देश दिये।
टीम कमाण्डर के निर्देश पर रेस्क्यू टीम के जवानों  भंवराराम, हनुमानराम,  श्यामसुन्दर,  अशोक,तेजाराम,  रमेश,संजय,  कंवराराम,राजेन्द्र तथा नानूराम ने रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया। सबसे पहले रेस्क्यू टीम मोटर बोट की सहायता से टापू बने सिणगारी गांव में फंसे ग्रामीणों के पास पहुँची। उसके बाद टीम ने गांव में फंसे 07 ग्रामीणों को लाईफ जैकेट पहनाकर सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया। उसके बाद रेस्क्यू टीम दोपहर 03ः30 बजे चोटिया गांव में फसे ग्रामीणों के पास पहुँची। सांय 07ः00 बजे तक रेस्क्यू टीम ने चोटिया गांव में फसे 26 ग्रामीणों को रेस्क्यू कर सुरक्षित स्थान पर पहुँचाया। जीवित बचाये गये ग्रामीणों में 13 पुरूष,10 महिला व 10 बच्चे शामिल है।एसडीआरएफ रेस्क्यू टीम ने टापू बने दोनों गांवों (सिणगारी व चोटिया) में फंसे कुल 33 ग्रामीणों को जीवित बचाकर एसडीआरएफ के स्लोगन ‘‘आपदा सेवार्थ कटिबद्धता’’ को पूर्णरूप से चरितार्थ किया है।